ब्यूरो संवाददाता
इटावा: यदि समाज जागरूक हो तो वन्यजीवों की जान सभी जगह सुरक्षित रह सकती है। आज जनजागरुकता की ही वजह से ही एक घायल राष्ट्रीय पक्षी मोर की जान बच गई। घटना के अनुसार आज सुबह लगभग 8 बजे एक मोर कचहरी परिसर में हवालात के पास बने मंदिर के नजदीक घायल अवस्था में पार्क के किनारे पड़ा हुआ था। उसकी एक टांग ग्रिल में फंसने से टूट चुकी थी। तभी वही कार्य कर रहे जनपद के एक जागरूक नागरिक बंटी की नजर उस मोर पर पड़ी तब उन्होंने 112 नंबर पर पुलिस को मोर के घायल होने की सूचना दी। जिसके बाद पीआरवी 4607 ने तत्काल मौके पर आकर लखनऊ कंट्रोल रूम को सूचित किया जहां से उन्हें सर्पमित्र वन्यजीव विशेषज्ञ डॉ आशीष त्रिपाठी का नंबर दिया गया।
सिविल लाइन्स थाने से पीआरवी 4607 पर तैनात डायल 112 से कांस्टेबल योगेश कुमार व राम भरोसे ने डॉ आशीष को तत्काल सूचना दी । सूचना मिलते ही डॉ आशीष ने 5 मिनट में ही मौके पर जाकर उस घायल मोर की सही तरीके से मलहम पट्टी कर उसे पानी पिलाया जिसके बाद मोर की घबराहट काफी कम हो गई तत्पश्चात डॉ आशीष ने इस घटना की सूचना प्रभागीय निदेशक सामाजिक वानिकी इटावा अतुल कांत शुक्ला को दी जिस पर तत्काल संज्ञान लेते हुए उन्होंने वन क्षेत्राधिकारी बढ़पुरा रेंज प्रबल प्रताप सिंह को निर्देशित किया जिसके बाद उन्होंने वन दरोगा रविंद्र मिश्रा को मौके पर भेजा वे मौके पर आए और डॉ आशीष त्रिपाठी ने इटावा पुलिस एवम जनता की मौजूदगी में उस घायल मोर को सुरक्षित रूप से वन विभाग के रविंद्र मिश्रा एवम अन्य कर्मचारियों के सुपुर्द कर दिया। जिसे अब वन विभाग की देखरेख में जरूरी इलाज के लिए अस्पताल भी भेज दिया गया है।
विदित हो कि जनपद में पर्यावरण एवम वन्यजीव संरक्षण की दिशा में संस्था ओशन के किए जा रहे अथक प्रयास अब पूर्णतयः फलीभूत हो रहे है जनता बेहद जागरूक हो गई है और किसी भी वन्यजीव के जनपद में दिखाई देने की सूचना सीधे डॉ आशीष त्रिपाठी या डायल 112 को देने लगी है। आज राष्ट्रीय पक्षी मोर के सफल रेस्क्यू में कचहरी परिसर की जागरूक जनता, इटावा पुलिस एवम वन विभाग की टीम का पूर्ण सहयोग रहा। विदित हो कि डॉ आशीष समय समय पर जनपद के विभिन्न विद्यालयों में राष्ट्रीय मोर दिवस मनाने के साथ साथ अपनी पर्यावरण एवम वन्यजीव संरक्षण के लिए जनपद में कार्य कर रही संस्था *ओशन* (ऑर्गनाइजेशन फॉर कंजरवेशन ऑफ इन्वायरनमेंट एंड नेचर) के माध्यम से विभिन्न वन्यजीव संरक्षण जागरूकता कार्यक्रम लगातार आयोजित करते रहते है।
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