ब्यूरो संवाददाता
इटावा: पिछले दिनों से गर्मी के तेवर कुछ नरम हुए हैं लेकिन उमस लोगों को खूब परेशान कर रही है। स्थिति यह है कि उमस के कारण काफी बेचैनी हो रही है। रविवार को अधिकतम तापमान तो 38 डिग्री रहा था और सोमवार को भी यही स्थिति रही लेकिन कम तापमान के बाद भी उमस ने चैन नहीं लेने दिया। गर्मी से ज्यादा तो लोग इस उमए से परेशान हो रहे हैं। पिछले सालों के तुलना में तापमान भी ज्यादा है और उमस भी ज्यादा है। पिछले साल 27 जून को तापमान 34 डिग्री था।
पिछले दिनों की भीषण गर्मी के बाद रविवार से तापमान होने लगा और सोमवार को पारा 38 डिग्री पर रहा लेकिन उमस भरी गर्मी ने राहत का अहसास नही होने दिया। उमस ने खूब बेचैन किया। सुबह से शाम तक यही स्थिति बनी रही। गर्मी ने कुछ रहम किया तो उमस ने चैन नहीं लेने दिया। अब स्थिति है कि जून का महीना आधा बीत गया है लेकिन गर्मी से कोई खास राहत नहीं मिल रही है। सोमवार को पारा 38 डिग्री तक पहुंच गया। इसके बाद भी दिन में तो लोगों का घरों से निकलना मुश्किल है। सुबह से ही उमस भरी गर्मी ने अपने रंग दिखाने शुरु कर दिए थे। दोपहर को तो काफी मुश्किल हो रही थी। उमस और गर्मी से परेशान लोग रोज यह उम्मीद करते हैं कि शायद गर्मी से कुछ राहत मिले लेकिन यह उम्मीद पूरी नहीं हो रही है।
कई स्थानों पर उमस से परेशान लोग यह कहते मिले कि इस उमस भरी गर्मी से तो वह भीषण गर्मी ठीक थी। अंगोछा आदि बांधकर निकल तो सकते हैं। लेकिन इस उमस में तो स्थिति यह है कि पंखे के सामने से हटते ही पसीने से नहा जाते हैं। इसके चलते कार्यालयों के काम काज पर भीअसर पड़ रहा है। आमतौर पर जून में मानसून आ जाता है और जून का महीना आधा होते होते गर्मी से कुछ राहत मिलने लगती है। इसके विपरीत इस बार जून का महीना पूरा हो रहा है और अभी तक मानसून का अता पता नहीं है।
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